School Holiday News: राज्यात विधानसभेच्या निवडणुकीची तयारी जोरात सुरू असून, 20 नोव्हेंबर रोजी एकाच टप्प्यात संपूर्ण राज्यात मतदान होणार आहे. या निमित्ताने राज्यभर कडक पोलिस बंदोबस्त ठेवण्यात येणार आहे.
निवडणुकीच्या पार्श्वभूमीवर शाळांना 18, 19 आणि 20 नोव्हेंबर या तीन दिवस सुट्टी लागणार असल्याच्या चर्चांना उधाण आले होते. मात्र, या चर्चांना पूर्णविराम देत शालेय शिक्षण विभागाने आपली भूमिका स्पष्ट केली आहे.
शालेय शिक्षण विभागाने सांगितले आहे की, 18 आणि 19 नोव्हेंबर रोजी कोणतीही सार्वत्रिक सुट्टी घोषित करण्यात आलेली नाही. सर्व शाळा नियमित सुरू राहतील. या संदर्भात शिक्षण विभागाने परिपत्रक काढून स्पष्ट निर्देश दिले आहेत.
शिक्षण विभागाच्या परिपत्रकात असे नमूद करण्यात आले आहे की, "ज्या शाळांमधील सर्व शिक्षकांची नियुक्ती निवडणुकीसाठी करण्यात आली आहे आणि त्यामुळे एकही शिक्षक शाळेत उपस्थित राहू शकणार नाही, अशा शाळांसाठी स्थानिक पातळीवर मुख्याध्यापकांना सुट्टी घोषित करण्याचा अधिकार दिला आहे. मात्र, अशा शाळा वगळता इतर सर्व शाळा नेहमीप्रमाणे सुरू राहतील."
20 नोव्हेंबरला मतदानाच्या दिवशी शाळा बंद असतील, कारण त्या दिवशी मतदान केंद्रे शाळांमध्येच असतील.
यामुळे पालकांनी 18 आणि 19 नोव्हेंबरच्या सुट्टीबाबत अफवांवर विश्वास ठेवू नये, असे आवाहन शालेय शिक्षण विभागाने केले आहे.
Diwali Holidays 2024: दिवाळीचा सण सुरू झाला आहे, आणि याचा आनंद सर्वत्र पसरला आहे. दिवाळी हा भारतातील सर्वात मोठा आणि उत्सवमय सण आहे, जो भारतीय संस्कृतीतील एक अतिशय महत्त्वाचा भाग मानला जातो. याच काळात विद्यार्थ्यांना जास्त सुट्ट्या मिळतात, त्यामुळे त्यांच्यात विशेष उत्साह पाहायला मिळतो.
देशभरातील वेगवेगळ्या राज्यांमध्ये दिवाळीला शाळा-कॉलेजसह ऑफिससुद्धा बंद असतात. उत्तर प्रदेश, बिहार, दिल्ली यांसारख्या राज्यांमध्ये दिवाळीसाठी 4-5 दिवसांची सुट्टी असते, तर काही राज्यांमध्ये केवळ एकच दिवस सुट्टी दिली जाते. मात्र, महाराष्ट्रातील विद्यार्थ्यांसाठी यावर्षीच्या दिवाळीत जास्त दिवसांची सुट्टी असल्याने त्यांना विशेष आनंद आहे.
महाराष्ट्रातील काही शाळांना दिवाळीनंतर 31 ऑक्टोबरपासून सुट्टीची सुरुवात होणार आहे. काही जण दिवाळीचा मुख्य सण 1 नोव्हेंबरला साजरा करतात, त्यामुळे महाराष्ट्रातील बहुतेक शाळांना 1 नोव्हेंबरपासून सुट्टी मिळेल. यावर्षी महाराष्ट्रातील शाळांना एकूण 14 दिवसांची मोठी सुट्टी मिळणार आहे. या काळात शिक्षकांना विधानसभा निवडणुका लक्षात घेऊन प्रशिक्षणाचे कार्य दिलेले आहे.
सुट्टीनंतर महाराष्ट्रातील शाळा 12 नोव्हेंबरपासून सुरु होतील, तर काही प्राथमिक शाळा 16 नोव्हेंबरपर्यंत बंद राहतील. त्यामुळे यंदा विद्यार्थ्यांसाठी दिवाळी सणाचा आनंद मोठ्या प्रमाणात साजरा करण्यासाठी भरपूर वेळ मिळणार आहे.
महाराष्ट्र सरकारने १० वी म्हणजे एसएससी बदल मोठा निर्णय घेतला आहे, त्यामुळे विद्यार्थांचे ओझे कमी होण्याची शक्यता आहे, तो निर्णय असा आहे, की आता दहावी ची परिक्षा पास होण्यासाठी ३५ मार्कची आवश्यक नाही
महाराष्ट्र सरकारने गणित आणि विज्ञान विषयांचा उत्तीर्णांक ३५ वरून २० केला
नागपूर, दिनांक २३ ऑक्टोबर २०२४: महाराष्ट्र सरकारने माध्यमिक शालेय परीक्षेतील गणित आणि विज्ञान विषयांचा उत्तीर्णांक ३५ वरून २० केला आहे. या निर्णयामुळे या विषयांमध्ये संघर्ष करणाऱ्या विद्यार्थ्यांना दिलासा मिळेल.
मात्र, या निर्णयामागे काही अटी आहेत:
गणित किंवा विज्ञान विषयांचा अभ्यास करणार नाही: २० ते ३५ गुणांच्या दरम्यान उत्तीर्ण झालेल्या विद्यार्थ्यांच्या मार्कशीटवर "उत्तीर्ण" असे लिहिले जाईल, परंतु त्यांना गणित किंवा विज्ञान विषयांचा अभ्यास करणारे उच्च शिक्षण अभ्यासक्रम करण्यास पात्र ठरणार नाही.
पुनर्परीक्षा देण्याचा पर्याय: २० ते ३५ गुणांच्या दरम्यान उत्तीर्ण झालेल्या विद्यार्थ्यांना परीक्षा पुन्हा देण्याचा पर्याय आहे आणि ३५ गुणांहून अधिक गुण मिळवून कोणत्याही बंधनाशिवाय उत्तीर्ण होण्याचा प्रयत्न करू शकतात.
या निर्णयाला मिश्र प्रतिक्रिया मिळाल्या आहेत. काहींचे म्हणणे आहे की यामुळे मानव्य किंवा कला विषयांचा अभ्यास करण्यात रस असलेल्या विद्यार्थ्यांना मदत होईल, तर काही जण यामुळे शिक्षणाच्या गुणवत्तेवर परिणाम होण्याची भीती व्यक्त करत आहेत.
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परिचय:
अटल बिहारी वाजपेयी हिन्दी विश्वविद्यालय, भोपाल, भारत में उच्च शिक्षा को हिन्दी माध्यम में प्रदान करने वाला एक अग्रणी संस्थान है। यह विश्वविद्यालय 6 जून 2011 को स्थापित किया गया और इसका मुख्य उद्देश्य हिन्दी में उच्च शिक्षा को बढ़ावा देना है। हिन्दी के प्रबल समर्थक और भारत के पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर इस विश्वविद्यालय का नाम रखा गया है। यह विश्वविद्यालय हिन्दी भाषा, साहित्य, विज्ञान, वाणिज्य, प्रबंधन, और अन्य शैक्षिक क्षेत्रों में शिक्षा प्रदान करता है।
अटल बिहारी वाजपेयी हिन्दी विश्वविद्यालय के उद्देश्य:
1. हिन्दी माध्यम में उच्च शिक्षा प्रदान करना।
2. हिन्दी भाषा और साहित्य के प्रचार-प्रसार को बढ़ावा देना।
3. अनुसंधान एवं विकास को प्रोत्साहित करना, खासकर हिन्दी भाषा और विज्ञान के क्षेत्रों में।
4. वैश्विक स्तर पर हिन्दी भाषा का सशक्तिकरण और उसका प्रचार करना।
अटल बिहारी वाजपेयी हिन्दी विश्वविद्यालय के शैक्षिक पाठ्यक्रम
संकाय और विभाग:
1. कला और मानविकी (Arts and Humanities):
- हिन्दी साहित्य, इतिहास, समाजशास्त्र, राजनीतिक विज्ञान जैसे विषयों में शिक्षा।
2. विज्ञान और प्रौद्योगिकी (Science and Technology):
- भौतिकी, रसायनशास्त्र, जीवविज्ञान जैसे विज्ञान विषयों में हिन्दी माध्यम में पढ़ाई।
3. वाणिज्य और प्रबंधन (Commerce and Management):
- व्यापार, लेखा और प्रबंधन से जुड़े पाठ्यक्रम हिन्दी भाषा में।
4. शिक्षा और अध्यापन (Education and Teaching):
- शिक्षक प्रशिक्षण और शिक्षा क्षेत्र में स्नातक और स्नातकोत्तर डिग्री कोर्स।
अटल बिहारी वाजपेयी हिन्दी विश्वविद्यालय की विशेषताएँ
1. हिन्दी माध्यम में अध्ययन सामग्री: विश्वविद्यालय हिन्दी भाषा में शैक्षिक सामग्री प्रदान करता है, जिससे छात्रों को उनकी मातृभाषा में पढ़ाई करने में आसानी होती है।
2. भारतीय संस्कृति और विरासत का संरक्षण: इस विश्वविद्यालय का पाठ्यक्रम भारतीय संस्कृति और सामाजिक मूल्यों को बढ़ावा देता है।
3. अनुसंधान और नवाचार: हिन्दी भाषा और विज्ञान के क्षेत्र में अनुसंधान और विकास को प्रोत्साहन।
हिन्दी में उच्च शिक्षा के लाभ
1. सुलभता और समझ: हिन्दी माध्यम में शिक्षा प्राप्त करने से छात्रों को अपने विषय को गहराई से समझने में मदद मिलती है, खासकर वे छात्र जो अंग्रेजी में अध्ययन सामग्री को आसानी से समझ नहीं पाते।
2. रोजगार के अवसर: हिन्दी में उच्च शिक्षा प्राप्त करने वाले छात्रों के लिए सरकारी और निजी क्षेत्रों में रोजगार के कई अवसर उपलब्ध हैं। हिन्दी पत्रकारिता, शिक्षा, प्रशासनिक सेवाओं और अनुसंधान जैसे क्षेत्रों में करियर की संभावनाएँ बढ़ती हैं।
3. मातृभाषा में शिक्षा का महत्व: हिन्दी माध्यम से शिक्षा प्राप्त करना न केवल भाषा को सशक्त बनाता है, बल्कि छात्रों को अपने सामाजिक और सांस्कृतिक परिवेश से जुड़े रहने का मौका भी देता है।
अटल बिहारी वाजपेयी हिन्दी विश्वविद्यालय का महत्व
1. हिन्दी भाषा के प्रचार में योगदान: विश्वविद्यालय हिन्दी भाषा को शिक्षा का माध्यम बनाकर भारतीय भाषाओं को सशक्त बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है।
2. हिन्दी में व्यावसायिक और तकनीकी शिक्षा: इस विश्वविद्यालय ने यह सुनिश्चित किया है कि तकनीकी और व्यावसायिक पाठ्यक्रम भी हिन्दी में उपलब्ध हों, जिससे छात्रों को वैश्विक बाजार में प्रतिस्पर्धा करने की क्षमता मिल सके।
3. हिन्दी भाषा का वैश्विकरण: विश्वविद्यालय हिन्दी को वैश्विक भाषा के रूप में स्थापित करने के प्रयास कर रहा है। यह हिन्दी भाषा को विज्ञान, प्रबंधन और तकनीकी क्षेत्रों में प्रभावी बनाने के लिए कार्य कर रहा है।- अटल बिहारी वाजपेयी हिन्दी विश्वविद्यालय भोपाल
- हिन्दी में उच्च शिक्षा
- अटल बिहारी वाजपेयी यूनिवर्सिटी कोर्स
- हिन्दी माध्यम में उच्च शिक्षा के फायदे
- मध्य प्रदेश हिन्दी विश्वविद्यालय
- अटल बिहारी वाजपेयी विश्वविद्यालय प्रवेश
- हिन्दी में विज्ञान शिक्षा
- हिन्दी विश्वविद्यालय के पाठ्यक्रम
निष्कर्ष:
अटल बिहारी वाजपेयी हिन्दी विश्वविद्यालय ने हिन्दी भाषा में उच्च शिक्षा प्रदान करने के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण स्थान हासिल किया है। यह विश्वविद्यालय उन छात्रों के लिए आदर्श स्थान है जो अपनी मातृभाषा में उच्च शिक्षा प्राप्त करना चाहते हैं और हिन्दी को वैश्विक स्तर पर सशक्त बनाना चाहते हैं। इसका शैक्षिक और सांस्कृतिक योगदान भारत के शिक्षा परिदृश्य में हिन्दी के महत्व को पुनः स्थापित करता है।
परिचय:
प्राथमिक चिकित्सक, जिसे सामान्यत: सामान्य चिकित्सक या फैमिली डॉक्टर भी कहा जाता है, चिकित्सा प्रणाली का सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा होते हैं। ये डॉक्टर पहले संपर्क के रूप में काम करते हैं जब किसी व्यक्ति को किसी भी प्रकार की स्वास्थ्य समस्या का सामना करना पड़ता है। प्राथमिक चिकित्सक का उद्देश्य बीमारियों की प्रारंभिक पहचान, रोकथाम और प्रबंधन करना होता है, ताकि रोगी को शुरुआती चरण में ही उचित उपचार मिल सके।
प्राथमिक चिकित्सक की भूमिका:
1. रोग की रोकथाम (Prevention of Diseases):
प्राथमिक चिकित्सक नियमित जांच और परामर्श के माध्यम से स्वास्थ्य की निगरानी करते हैं और रोकथाम के उपाय बताते हैं। वे टीकाकरण, स्वास्थ्य परीक्षण और जीवनशैली से जुड़ी सलाह देते हैं, ताकि मरीज बीमारियों से बच सके।
2. रोग की पहचान (Diagnosis):
जब कोई व्यक्ति किसी स्वास्थ्य समस्या का सामना करता है, तो प्राथमिक चिकित्सक सबसे पहले उस समस्या की पहचान करते हैं। वे लक्षणों का विश्लेषण करते हैं और उचित जांच कराने की सलाह देते हैं।
3. सामान्य उपचार (General Treatment):
प्राथमिक चिकित्सक सामान्य बीमारियों जैसे बुखार, खांसी, जुकाम, मधुमेह, उच्च रक्तचाप आदि का इलाज करते हैं। वे दवाइयों का प्रिस्क्रिप्शन देते हैं और मरीज के स्वास्थ्य को मॉनिटर करते हैं।
4. विशेषज्ञों से रेफरल (Referral to Specialists):
अगर किसी रोगी की स्थिति अधिक गंभीर होती है या विशेष उपचार की आवश्यकता होती है, तो प्राथमिक चिकित्सक मरीज को संबंधित विशेषज्ञ के पास भेजते हैं।
5. दीर्घकालिक स्वास्थ्य प्रबंधन (Long-Term Health Management):
प्राथमिक चिकित्सक रोगियों के दीर्घकालिक स्वास्थ्य की देखभाल करते हैं, विशेष रूप से क्रोनिक बीमारियों जैसे मधुमेह, हृदय रोग, और अस्थमा का प्रबंधन। वे नियमित फॉलो-अप्स करते हैं ताकि रोगी का स्वास्थ्य नियंत्रण में रहे।
प्राथमिक चिकित्सक के महत्व:
- सुलभता और विश्वास: प्राथमिक चिकित्सक रोगियों के लिए आसानी से उपलब्ध होते हैं और उनके साथ एक मजबूत व्यक्तिगत संबंध विकसित करते हैं। यह संबंध डॉक्टर को मरीज की पूरी चिकित्सा पृष्ठभूमि समझने में मदद करता है, जिससे वे बेहतर और व्यक्तिगत उपचार प्रदान कर सकते हैं।
- स्वास्थ्य प्रणाली की धुरी: वे स्वास्थ्य सेवा प्रणाली में सबसे महत्वपूर्ण कड़ी होते हैं, क्योंकि वे अन्य विशेषज्ञों के साथ संपर्क में रहते हैं और मरीज की पूरी देखभाल का समन्वय करते हैं।
- रोग की शीघ्र पहचान: वे बीमारियों को शुरुआती चरण में पहचानकर गंभीरता को कम कर सकते हैं, जिससे इलाज की लागत भी घटती है और रोगी को गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं से बचाया जा सकता है।
निष्कर्ष:
प्राथमिक चिकित्सक स्वास्थ्य सेवा प्रणाली की रीढ़ होते हैं। वे व्यक्ति के संपूर्ण स्वास्थ्य की देखभाल करते हैं, न केवल बीमारी के दौरान बल्कि स्वस्थ रहने के लिए भी। उनके पास चिकित्सकीय ज्ञान के साथ-साथ सामाजिक कौशल भी होता है, जिससे वे मरीजों को विश्वास के साथ स्वास्थ्य सलाह और उपचार प्रदान कर पाते हैं।
चिमूर,
सोमाना विद्या व वन विकास प्रशिक्षण मंडळ गडचिरोली द्वारा संचालित शिवानी अनुदानित प्राथमिक, माध्यमिक आदिवासी आश्रमशाळा भिसीची गुणवत्ता ढासळ्याने आदिवासी विकास आयुक्त नाशिक यांच्या आदेशावरून कायमस्वरूपी नुसतीच मान्यता रद्द केली आहे.
यात शिक्षण घेणार्या विद्यार्थ्यांची शैक्षणिक नुकसान होऊ नये म्हणून जवळच्या आश्रम शाळेत समावेश घेण्यासाठी शिक्षक व शिक्षकेतर कर्मचारी यांना इतर नियमानुसार अनुदानित आश्रमशाळेमध्ये समावेश घेण्याचा आदेश दिले आहे
इंदिरा प्रगती शिक्षण संस्था भिंडाळा द्वारा संचालित रुई तालुका बम्हपुरी येथील रद्द करण्यात आलेल्या अनुदानित आश्रमशाळा
सेमाना विद्या व वन विकास प्रशिक्षण मंडळ गडचिरोली
या संस्थेला हस्तातंरीत करुन सदर अनुदानित आश्रम शाळा भिसी येथे सन.2010- 2011 सुरु करण्यास मान्यता देण्यात आली होती.
19 आँगस्ट 2023 रोजी आदिवासी प्रकल्प अधिकारी चिमूर
यांच्या सदर आश्रम शाळेचा भेटी दरम्यान अनेक समस्या आढळून आल्या.
शाळेमध्ये पुरेशा सोयी सुविधा व सकस आहार मिळत नसल्याने शाळेमध्ये मागील पाच वर्षापासून पट संख्या अल्प आहे.
सदर शाळा 2010 पासून भाडेतत्त्वावर आहे, या समस्या अहवाल पाठवण्यात आला, त्यांच्या शिफारशी वरून अप्पर आयुक्त नागपूर यांनी अहवाल अप्पर आयुक्लताय नाशिक येथे पाठवून सदर अनुदानित आश्रम शाळा कायम स्वरूपी करण्याची शिफारस केली. त्यानुसार आदिवासी विकास विभागाचे आयुक्त नयना गुंडे यांच्या आदेशावरून मान्यता कायम स्वरूपी रद्द करण्यात आली आहे.
असे नुसतेच धडकले आहे.
गडचिरोली :- विद्यार्थ्यांच्या व्यक्तिमत्व विकासाला चालना देणाऱ्या ‘मुख्यमंत्री माझी शाळा, सुंदर शाळा’ अभियानाच्या दुसऱ्या टप्प्यात शासकीय गटातून गडचिरोली येथील नगरपरिषदेच्या जवाहरलाल नेहरू शाळेने राज्यस्तरावर तृतीय क्रमांक पटकावला आहे. प्रथम क्रमांकावर पुणे जिल्हा परिषदेची प्राथमिक शाळा धानोरे तर ठाणे येथील एनएमएमसी द्वितीय क्रमाकांवर आहे. शालेय शिक्षण मंत्री दीपक केसरकर यांनी काल याबाबतची घोषणा केली. जिल्हाधिकारी संजय दैने आणि मुख्य कार्यकारी अधिकारी आयुषी सिंह यांनी नगरपरिषदेचे मुख्याधिकारी सुर्यकांत पिदुरकर, शाळा व्यवस्थापन, मुख्याध्यापक, शिक्षक व विद्याथ्यांचे अभिनंदन केले आहे.
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे यांच्या पुढाकारातून विविध स्पर्धात्मक उपक्रमांवर आधारीत 'मुख्यमंत्री माझी शाळा, सुंदर शाळा' हे अनोखे अभियान राज्यात मागील वर्षापासून राबविण्यास सुरुवात झाली आहे. सन 2023-24 मध्ये या अभियानाचा पहिला टप्पा अत्यंत यशस्वी ठरला. सुमारे 95 टक्के शाळांमधील विद्यार्थी या अभियानात सहभागी झाले होते. यातील काही उपक्रमांची नोंद गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रेकॉर्ड मध्ये देखील झाली आहे.
मागील वर्षीचा उत्साहवर्धक अनुभव विचारात घेऊन या वर्षी देखील या अभियानाचा दुसरा टप्पा 5 सप्टेंबर ते 15 सप्टेंबर 2024 या कालावधीत राबविण्यात आला. या उपक्रमास देखील शाळांनी व विद्यार्थ्यांनी भरभरुन प्रतिसाद दिला आहे. या वर्षीच्या दुसऱ्या टप्प्यात सुमारे 98 हजार शाळांमधून सुमारे 1 कोटी 91 लाख विद्यार्थी तर सुमारे 6 लाख 60 हजार शिक्षक या अभियानाच्या विविध उपक्रमात सहभागी झाले होते. दुसऱ्या टप्यासाठी पायाभूत सुविधा, शासन ध्येय धोरण अंमलबजावणी आणि शैक्षणिक संपादणूक या प्रमूख घटकांवर आधारीत एकूण 150 गुणांचे विविध स्पर्धात्मक उपक्रम निश्चित करण्यात आले होते.
विजेत्या शाळांना १४ ऑक्टोबर रोजी मुंबई येथे मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे यांचे हस्ते पारितोषिक दिले जाणार आहे. राज्यस्तरावर तृतीय क्रमांक मिळविलेल्या गडचिरोलीच्या शाळेला 21 लाख रुपयांचे पारितोषिक जाहिर झाले आहे. राज्यस्तर, विभागस्तर व महानगरपालिका कार्यक्षेत्रासाठी शासकीय व खाजगी गटात एकूण ६६ शाळांना प्रथम, द्वितीय व तृतीय क्रमांकाचे पारितोषिक देण्यात येणार आहे.
शिक्षक पदभरतीत घोळ करणाऱ्या शिक्षणाधिकाऱ्यास निलंबित करा :- आझाद समाज पक्षाची मागणी
गडचिरोली :- जिल्ह्यातील जिल्हा परिषद कंत्राटी शिक्षक भरती मध्ये शिक्षण विभागाच्या भोंगळ व मनमानी कारभारामुळे गडचिरोली जिल्ह्यातील अनेक बेरोजगारांवर सातत्याने अन्याय होत आहे. त्यामुळे शिक्षणाधिकाऱ्यास निलंबित करण्याची मागणी आझाद समाज पक्षाच्या वतीने करण्यात आली. ज्या उमेदवारांनी Bed झालेच नाही अशाही उमेदवारांना नियुक्ती दिली. परंतु ज्ञानेश्वर नंदेश्वर, नलिनी भोयर, मीना गोवर्धन यांचा Bed झाला असताना नियुक्ती दिली नाही. यामध्ये गैरव्यवहार झाल्याचा संशय आहे.
05 सप्टेंबर रोजी आझाद समाज पार्टीच्या वतीने जिल्हा परिषदेवर काढलेल्या मोर्च्यात मुख्य कार्यकारी अधिकाऱ्यांनी दखल घेत शिक्षणाधिकाऱ्यांनी जाहीरपणे स्थानिकांना प्राधान्य देणार असल्याचे कबूल केले आणि राज्य सरकारने सुद्धा याची दखल घेऊन नविन 10 पेक्षा कमी पटसंख्या असलेल्या शाळेत पदभरती करताना निवृत शिक्षकांना या प्रक्रियेतून बाद केले, पंचायत समिती अंतर्गत स्थानिकांना प्राधान्य दिले आणि CTET, TAIT सारख्या अट शिथिल केल्या या तिन्ही मागण्या पूर्ण करून आदेश काढला.
शिक्षण विभागाने 11 ऑक्टोबर ला 189 उमेदवार बाहेर जिल्ह्यातील बोलविले हे मात्र समजले नाही. नेमके जिल्हा परिषदेने चालविले काय, शासकीय आदेश असताना आणि स्वतः उघडपने कबूल केले असताना आता अशा प्रकारे जिल्ह्याबाहेरील उमेदवारांना स्थान देणे म्हणजेच हा मनामानी कारभार असल्याचा आरोप आझाद समाज पक्ष व बेरोजगार संघटनेने पत्रकार परिषदेतून केला आहे.
एक तर ज्यावेळी पदभरती चालू होती त्यावेळी Tait, Ctet नसलेल्या Ded, Bed धारकांचे अर्ज आले असताना स्वीकारले नाही. त्यामुळे आता जिल्ह्यातील Ded, Bed धारकांना संधी असताना अर्ज नाही म्हणून बाहेर जिल्ह्यातील उमेदवारांना स्थान देत आहेत यातून “शिक्षण विभागाने भ्रष्टाचार तर केला नाही ना? ” असा सवाल उपस्थित होतो.
एवढेच नव्हे तर 7 ऑक्टोबर 2024 रोजी 10 पेक्षा कमी पटसंख्या असणाऱ्या शाळेत कंत्राटी शिक्षक भरतीची जाहिरात प्रसिद्ध करून केवळ 3 दिवस मुदत देऊन 10 ऑक्टोबर अर्ज करण्याची शेवटची तारीख देण्यात आली हा प्रशासनानी बेरोजगारांशी मांडलेला खेळ आहे. कोणतीही भरती निघाली तर 2 दिवस ती माहिती होण्यासाठी लागतात मग केवळ 3 दिवसाची मुदत देऊन जिल्हा परिषद नेमके काय साध्य करायचे आहे हा प्रश्न आहे. आचारसंहिता लागणार म्हणून काय कशाही पद्धतीने मनमानी चालवीणार का?
तसेच कंत्राटी शिक्षकांची नियुक्ती करताना उमेदवारांना त्याच्या गावाजवळ चीं शाळा देण्यात यावी असे असताना गावाजवळचीं शाळा न देता 100-150 km दूर पाठविण्यात आले. सुरुवातीला आदेशात 20 हजार मानधन असताना आदेशात 15 हजार मानधन करण्यात आले हा मोठा प्रमाणात भोंगळ कारभार असल्याचे सिद्ध होत आहे..
आझाद समाज पार्टी व बेरोजगार संघटनेकडून बाहेर जिल्ह्यातील उमेदवारांची पदभरती त्वरीत स्थगित करून, जिल्ह्यातील DEd, Bed धारक उमेदवारांना अर्ज करण्याची संधी उपलब्ध करून द्यावी व न्याय द्यावा. आणि या प्रकरणाची सखोल चौकशी करून शिक्षणाधिकारी यांना निलंबित करण्यात यावे अशी मागणी करण्यात येत आहे.
राज बन्सोड जिल्हाध्यक्ष, आझाद समाज पार्टी गडचिरोली यांनी प्रेस नोट द्वारे कळविले आहे.
नामकरणाची मागणी मंजूर केल्याने आमदार डॉक्टर देवरावजी होळी यांनी मानले राज्य सरकारचे आभार
गडचिरोली:-गडचिरोलीच्या शासकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्था आयटीआयचे नामकरण क्रांतिवीर बाबुराव शेडमाके करण्यात यावे ती मागणी आमदार डॉक्टर देवराव जी होळी यांनी शासन स्तरावर केली होती. त्यांच्या या प्रयत्नांना अखेर यश मिळाले असून शासकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्था (आयटीआय) गडचिरोलीचे नामकरण क्रांतिवीर बाबुराव शेडमाके शासकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्था (आदिवासी ) गडचिरोली, जि. गडचिरोली करण्यात आले आहे . या प्रशिक्षण संस्थेचा नामकरण सोहळा दिनांक ११ ऑक्टोंबर रोजी दुपारी १२ वाजता आमदार डॉक्टर देवरावजी होळी यांच्या प्रमुख उपस्थितीमध्ये आयोजित करण्यात आला आहे.
नामकरणाची मागणी मंजूर केल्याबद्दल आमदार डॉक्टर देवरावजी होळी यांनी राज्याचे मुख्यमंत्री ना .एकनाथजी शिंदे, उपमुख्यमंत्री ना.देवेंद्रजी फडणवीस ,उपमुख्यमंत्री ना.अजित दादा पवार व कौशल्य विकास मंत्री मंगल प्रभातजी लोढा यांचे आभार मानले आहे.
गडचिरोली,दि.9 (जिमाका) :-प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी यांच्या हस्ते दूरदृश्य प्रणालीद्वारे आज गडचिरोलीसह राज्यातील एकूण 10 वैद्यकीय महाविद्यालयांचे उद्घाटन ऑनलाइन पद्धतीने करण्यात आले.
राज्यपाल सी. पी. राधाकृष्णन यांच्या अध्यक्षतेखली आयोजित या कार्यक्रमालाय राज्याचे मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे , उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस, उपमुख्यमंत्री अजित पवार आणि अन्य केंद्रीय मंत्री यांची दूरदृश्य प्रणालीद्वारे उपस्थित होते. जिल्हाधिकारी कार्यालयातील नियोजन भवन येथून दूरदृश्य प्रणालीद्वारे या कार्यक्रमाचे थेट प्रक्षेपण करण्यात आले होते. यावेळी प्रभारी जिल्हाधिकारी तथा जिल्हा परिषदेच्या मुख्य कार्यकारी अधिकारी आयुषी सिंह, खासदार नामदेवराव किरसान, वैद्यकीय महाविद्यालयाचे अधिष्ठाता डॉ. अविनाश टेकाडे, जिल्हा शल्य चिकित्सक डॉ. माधुरी किलनाके तसेच इतर लोकप्रतिनिधी व अधिकारी उपस्थित होते.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी यांनी यावेळी बोलतांना सांगितले की राज्यात सुरू होत असलेल्या नवीन 10 वैद्यकीय महाविद्यालयामुळे महाराष्ट्रामध्ये 900 वैद्यकीय प्रवेशक्षमता वाढून ती आता सुमारे 6 हजार होत आहे. ही वैद्यकीय महाविद्यालये स्थानिक व लगतच्या परिसरातील नागरिकांसाठी सेवा केंद्र बनतील. तसेच वैद्यकीय महाविद्यालयामुळे युवा वर्गासाठी वैद्यकीय शिक्षणाच्या नवीन संधीचे दरवाजे उघडले गेले असल्याचे ते म्हणाले.
शासनाने वैद्यकीय शिक्षण सुलभ केले आहे असे सांगून पंतप्रधानांनी महाराष्ट्रातील तरुणांसाठी नवीन संधींची दारे खुली झाल्याचे नमूद केले. गरीब आणि मध्यमवर्गीय कुटुंबातील जास्तीत जास्त मुले डॉक्टर व्हावीत आणि त्यांची स्वप्ने पूर्ण व्हावीत हे शासनाचे प्राधान्य असल्याचे त्यांनी सांगितले. एकेकाळी अशा प्रकारच्या विशेष अभ्यासासाठी मातृभाषेतील पुस्तके उपलब्ध नसण्याचे मोठे आव्हान होते. सरकारने हा भेदभाव संपवला आणि महाराष्ट्रातील युवकांना मराठी भाषेतून वैद्यकीय शिक्षण घेता येईल असे सांगितले. युवक मातृभाषेतून शिक्षण घेऊन डॉक्टर होण्याचे स्वप्न पूर्ण करतील असेही ते म्हणाले. ग्रामीण भागातील विद्यार्थीही वैद्यकीय शिक्षणात अग्रक्रमी राहतील, असा विश्वास त्यांनी यावेळी व्यक्त केला.
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे यांनी 2014 मध्ये राज्यात 387 वैद्यकीय महाविद्यालये होती ती आता 706 झाली असून सर्वाधिक वैद्यकीय महाविद्यालये महाराष्ट्रात असल्याचे व महाराष्ट्र शिक्षण क्षेत्रात अव्वल होत असल्याचे सांगितले. उपमुख्यमंत्री तथा जिल्ह्याचे पालकमंत्री देवेंद्र फडणवीस यांनी प्रत्येक जिल्ह्यात शासकीय वैद्यकीय महाविद्यालय स्थापन करण्याच्या उपक्रमांतर्गत आज राज्यात 10 वैद्यकीय महाविद्यालये सुरू करण्यात येत असल्याचे व याचा आपणास मनस्वी आनंद असल्याचे सांगितले.
नियोजन भवन येथे मार्गदर्शन करतांना प्रभारी जिल्हाधिकारी आयुषी सिंह यांनी गडचिरोली येथे वैद्यकीय महाविद्यालय सुरू झाल्याने जिल्ह्यातील व लगतच्या परिसरातील विद्यार्थ्यांना वैद्यकीय क्षेत्रात शिक्षणाच्या संधी उपलब्ध झाल्याचे सांगून विद्यार्थ्यांनी त्याचा लाभ घेण्याचे आवाहन केले. .
अधिष्ठाता डॉ. अविनाश टेकाडे यांनी सांगितले की गडचिरोली येथील वैद्यकीय महाविद्यालयात १०० विद्यार्थी प्रवेश् क्षमतेची परवानगी मिळाली असून चालू सत्रातच निट प्रवेश परिक्षेच्या तीसऱ्या फेरीत गुणवत्तेनुसार प्रवेश निश्चित करण्यात येतील. 85 जागा या महाराष्ट्रातील रहिवासी यांच्यासाठी राखीव असतील तर 15 जागा या संपूर्ण भारतातील विद्यार्थ्यांसाठी खुल्या राहतील. एम.बी.बी.एस. प्रथम वर्ष अध्यापनासाठी नागपूर व चंद्रपूर येथील शासकीय वैद्यकीय महाविद्यालयातील प्राध्यापक व इतर कर्मचाऱ्यांच्या सेवा गडचिरोली येथे वर्ग करण्यात आल्या असून नियमित अध्यापनासाठी कोणतीही अडचण नसल्याचे डॉ. टेकाडे यांनी सांगितले.
कार्यक्रमाला वैद्यकीय क्षेत्रातील व इतर संबंधीत अधिकारी प्रामुख्याने उपस्थिती होते.
नवीन 10 शासकीय वैद्यकीय महाविद्यालयांचा शुभारंभ
राज्यात नवीन 10 शासकीय वैद्यकीय महाविद्यालयांना मान्यता प्राप्त झाली आहे. यामध्ये गडचिरोलीसह, अमरावती, मुंबई, नाशिक, जालना, बुलडाणा, हिंगोली, वाशिम, भंडारा आणि अंबरनाथ (ठाणे) अशा वैद्यकीय महाविद्यालयांचा समावेश आहे.
Current Affairs Highlights (October 8, 2024)
National:
* Early Warning Aircraft: The Indian Air Force is evaluating twelve early warning aircraft through two distinct programs.
* Railway Recruitment: The government has revised its recruitment policy for railway officers.
* NEET Paper Leak: The CBI has filed a third chargesheet against 21 people in the NEET UG-2024 paper leak case.
* Classical Language Status: Five languages have been granted classical status with the removal of the "original literary tradition" requirement.
* Maldivian President's Visit: Maldivian President Muizzu plans to meet with PM Modi to discuss India's assistance in tackling debt challenges.
International:
* Israel-Iran Conflict: The conflict between Israel and Iran continues to escalate, with reports of attacks and retaliations.
* Mozambique Elections : Mozambique prepares for elections amidst concerns about security and political stability.
* EU Advice to Airlines: The EU advises airlines to avoid Iranian airspace due to safety concerns.
Sports:
* Women's T20 World Cup: India's women's cricket team claimed their first T20 World Cup win against Pakistan.
Other Notable News:
* Missing Hikers Rescued: Two hikers from the US and UK, lost in the Himalayas without food or supplies, have been found and rescued.
* Vice President's Remarks: Vice President Jagdeep Dhankhar commented on the need for better alignment between the legislative and judicial branches.
* Australian High Commissioner's Visit: The Australian High Commissioner visited Arunachal Pradesh.
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School Holidays 2024: ऑक्टोबर महिना विद्यार्थ्यांसाठी अत्यंत खास ठरणार आहे, कारण या महिन्यात विविध सणांच्या निमित्ताने शाळांना भरपूर सुट्ट्या मिळणार आहेत. महात्मा गांधी जयंती, नवरात्री, दसरा, करवा चौथ आणि दिवाळी यांसारख्या मोठ्या सणांमुळे विद्यार्थी आणि शिक्षक दोघेही सुट्ट्यांचा आनंद घेऊ शकणार आहेत. या काळात शाळा आणि महाविद्यालये बंद राहतील, ज्यामुळे विद्यार्थ्यांना अभ्यासाच्या ताणातून काही काळ मुक्ती मिळेल.
या महिन्यात शाळांना भरपूर सुट्ट्या मिळणार असल्याने विद्यार्थ्यांना त्यांच्या सणाचा आनंद घेण्यासाठी पुरेसा वेळ मिळणार आहे. त्यामुळे ऑक्टोबर महिना विद्यार्थ्यांसाठी अत्यंत उत्साहवर्धक आणि आरामदायक ठरणार आहे.
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लिटील हार्ट्स विद्यालयाच्या विद्यार्थ्यांची जिल्हास्तरावर झेप
३१ विद्यार्थ्यांनी मारली मैदानी स्पर्धेत तालुकास्तरावर बाजी
आष्टी :-
नुकत्याच पार पडलेल्या तालुकास्तरीय मैदानी स्पर्धेत लिटील हार्ट्स इंग्लिश मिडीयम हायस्कूल आष्टी येथील ३१ विद्यार्थ्यांनी विविध मैदानी स्पर्धेत यश संपादन करीत जिल्हास्तरीय मैदानी स्पर्धेत झेप घेतली.
सदर स्पर्धेत हर्डल्स, लांब उडी, गोळा फेक, थाडी फेक, भाला फेक, १०० मी. धावणे, २०० मी. धावणे, ३ किमी. चालणे, ५ किमी. चालणे, रिले ४ x १०० अश्या विविध स्पर्धेत विद्यार्थ्यांनी प्रथम व द्वितीय क्रमांक पटकावून यश संपादित करीत जिल्हास्तरीय मैदानी स्पर्धेकरिता निवड झाली आहे.
यासाठी संस्थेचे अध्यक्ष श्री. अनिल आल्लूरवार, यांनी विद्यार्थ्यांना पटांगणाची सोय करून दिल्यामुळे विद्यार्थ्यांना क्रीडा शिक्षक श्री. नितेश पंगाटी यांच्या मार्गदर्शनात उत्तम प्रशिक्षण घेत मिळालेल्या संधीचे सोने करता आले.
जिल्हास्तरीय मैदानी स्पर्धेत निवड झालेल्या सर्व खेळाडूंचे संस्थेचे अध्यक्ष श्री. अनिल आल्लूरवार, सचिव श्री. रमेश आरे, मुख्याध्यापक श्री. कृष्णमुर्ती गादे, तालुका क्रीडा संयोजक श्री. राकेश खेवले यांच्यासह विद्यालयातील सर्व शिक्षक तथा शिक्षकेत्तर कर्मचारी व विद्यार्थ्यांनी कौतुक केले.
Sarkari Yojana 2024: नमस्कार मित्रांनो! राज्य सरकारने विद्यार्थीहितासाठी आणखी एक महत्त्वपूर्ण योजना सुरू केली आहे मुख्यमंत्री युवा कार्य प्रशिक्षण योजना. या योजनेत 12वी उत्तीर्ण विद्यार्थ्यांना दरमहा 6 हजार रुपयांचे विद्यावेतन मिळणार आहे. यासाठी अर्ज करण्याची प्रक्रिया ऑनलाइन सुरू आहे.
राज्यातील विद्यार्थ्यांना उद्योग क्षेत्रात अनुभव मिळावा यासाठी ही योजना सुरू करण्यात आली आहे. योजनेचा उद्देश राज्यातील उद्योग आणि व्यवसाय क्षेत्राला कुशल मनुष्यबळ पुरवणे आहे. विद्यार्थ्यांना सहा महिन्यांच्या कालावधीत उद्योग क्षेत्रात काम करण्याची संधी मिळणार आहे.
विद्यार्थ्यांनी अर्ज करण्यासाठी https://rojgar.mahaswayam.gov.in या संकेतस्थळावर ऑनलाईन नोंदणी करावी. या योजनेअंतर्गत विविध प्रकल्प, उद्योग, स्टार्टअप्स विद्यार्थ्यांसाठी रोजगाराच्या संधी उपलब्ध करून देतील.
जर तुम्ही या योजनेत सहभागी होऊ इच्छित असाल, तर आजच अर्ज करा आणि तुमच्या भविष्याला नवी दिशा द्या!
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Things we should learn from Mahatma Gandhi : महात्मा गांधी से सीखने योग्य बातें
महात्मा गांधी : अहिंसा का प्रतीक
महात्मा गांधी जयंती, आज भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के जन्मदिन के अवसर पर मनाई जाती है।
महात्मा गांधी, भारतीय स्वतंत्रता के एक प्रतिष्ठित नेता, ने गहन ज्ञान और सिद्धांतों की विरासत छोड़ी जो आज भी प्रासंगिक हैं। हम उनसे कुछ प्रमुख बातें सीख सकते हैं:
1. अहिंसा: गांधी का सबसे प्रसिद्ध सिद्धांत, अहिंसा, अन्याय के लिए शांतिपूर्ण प्रतिरोध का वकालत करता है। उन्होंने अपने सत्याग्रह आंदोलनों के माध्यम से इसकी शक्ति का प्रदर्शन किया, दुनिया भर में लोगों को हिंसा का सहारा लिए बिना अपने अधिकारों के लिए लड़ने के लिए प्रेरित किया। यह सिद्धांत हमें सिखाता है कि उत्पीड़न के सामने भी, हम शांतिपूर्ण तरीकों से बदलाव की मांग कर सकते हैं।
2. सत्य: गांधी का मानना था कि सत्य ही भलाई की अंतिम शक्ति है। उन्होंने व्यक्तिगत और सार्वजनिक दोनों क्षेत्रों में सत्य और ईमानदारी से जीवन जीने के महत्व पर जोर दिया। यह सिद्धांत हमें याद दिलाता है कि विश्वास बनाने और दुनिया पर सकारात्मक प्रभाव डालने के लिए अखंडता और प्रामाणिकता आवश्यक हैं।
3. सरल जीवन, उच्च विचार: गांधी ने सादगी का जीवन व्यतीत किया, भौतिकवाद को त्याग दिया और आवश्यक चीजों पर ध्यान केंद्रित किया। उनका मानना था कि अपने जीवन को सरल बनाकर, हम अपने आप को अनावश्यक इच्छाओं से मुक्त कर सकते हैं और अधिक सार्थक गतिविधियों पर ध्यान केंद्रित कर सकते हैं। यह सिद्धांत हमें वस्तुओं पर अनुभवों को प्राथमिकता देने और जीवन की सरल चीजों में खुशी खोजने के लिए प्रोत्साहित करता है।
4. समानता और सामाजिक न्याय: गांधी समानता और सामाजिक न्याय के प्रबल समर्थक थे। उन्होंने भेदभाव और जाति आधारित प्रणालियों के खिलाफ लड़ाई लड़ी, एक न्यायपूर्ण और समतापूर्ण समाज के विचार को बढ़ावा दिया। उनके उपदेश हमें सभी के साथ सम्मान और गरिमा के साथ व्यवहार करने के महत्व की याद दिलाते हैं, चाहे उनकी पृष्ठभूमि या सामाजिक स्थिति कुछ भी हो।
5. आत्म-अनुशासन और आत्म-संयम: गांधी का मानना था कि आत्म-अनुशासन और आत्म-संयम व्यक्तिगत विकास और सामाजिक परिवर्तन के लिए आवश्यक हैं। उन्होंने अपने संकल्प को मजबूत करने और अपनी ऊर्जा को अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने पर केंद्रित करने के लिए उपवास और ध्यान सहित कठोर आत्म-अनुशासन का अभ्यास किया। यह सिद्धांत हमें चुनौतियों पर काबू पाने और अपनी आकांक्षाएं प्राप्त करने के लिए आत्म-जागरूकता और आत्म-संयम विकसित करने के लिए प्रोत्साहित करता है।
6. सहानुभूति और करुणा: गांधी ने मानवीय संबंधों में सहानुभूति और करुणा के महत्व पर जोर दिया। उनका मानना था कि दूसरों को समझने और उनकी देखभाल करने से हम एक अधिक सामंजस्यपूर्ण और करुणामय दुनिया बना सकते हैं। उनके उपदेश हमें याद दिलाते हैं कि सहानुभूति मानवीय संबंध का आधार है और दूसरों के दुख को दूर करने के लिए करुणा आवश्यक है।
7. पर्यावरण चेतना: गांधी पर्यावरण संरक्षण के शुरुआती समर्थक थे। उन्होंने प्रकृति के साथ सद्भाव में रहने और भविष्य की पीढ़ियों के लिए ग्रह को संरक्षित करने के महत्व पर जोर दिया। उनके उपदेश हमें पर्यावरण की रक्षा करने और अपने दैनिक जीवन में स्थायी प्रथाओं को अपनाने की जिम्मेदारी की याद दिलाते हैं।
गांधी के सिद्धांतों से सीखकर और उन्हें अपने जीवन में लागू करके, हम एक अधिक शांतिपूर्ण, न्यायपूर्ण और स्थायी दुनिया में योगदान कर सकते हैं। उनकी विरासत आज भी दुनिया भर में लोगों को एक बेहतर भविष्य के लिए प्रयास करने के लिए प्रेरित करती है।
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Lek Ladki Yojana 2024: महाराष्ट्र सरकारने मुलींच्या उज्ज्वल भविष्यासाठी लेक लाडकी योजना Lek Ladki Yojana 2024 सुरु केली आहे. या योजने अंतर्गत महाराष्ट्र राज्यातील मुलींना जन्मापासून ते मुलीच्या 18 वर्षे होई वयापर्यंत एकूण 1 लाख 1 हजार रुपयांची आर्थिक मदत दिली जाणार आहे. मुलींच्या शिक्षण, आरोग्य आणि सर्वांगीण विकासासाठी ही योजना सुरू करण्यात आली आहे. लेक लाडकी योजना चा लाभ कुणाला मिळणार? आणि अर्ज कसा करायचा? या बद्दल आपण संपूर्ण माहिती जाणून घेणार आहोत.
अशा प्रकारे लेक लाडकी योजने अंतर्गत मुलीच्या जन्मानंतर एकूण 1 लाख 1 हजार रुपये देण्यात येणार आहे.
लेक लाडकी योजनेचा लाभ घेण्यासाठी अर्ज द्यायचा असेल, तर तुम्हाला तुमच्या भागातील अंगणवाडी सेविकेकडे जावे लागेल.
अर्जात तुमची वैयक्तिक माहिती, पत्ता, मोबाईल नंबर, अपत्यांची माहिती, बँक खात्याचा तपशील व योजनेच्या कोणत्या टप्प्यातील लाभासाठी अर्ज केला आहे ते नमूद करणे आवश्यक आहे. अर्ज पूर्ण केल्यानंतर तारीख आणि ठिकाण टाकून सही करणे देखील महत्त्वाचे आहे.
अर्ज केल्यानंतर अंगणवाडी सेविकेकडून पोहोच पावती मिळवणे विसरू नका.
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